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वैज्ञानिकों के अनुसार मई तक कमजोर पड़ जाएगा कोरोना

देश में कोरोना वायरस की दूसरी लहर का जबरदस्त असर दिख रहा है। डराने वाले आंकड़ों के बीच हर कोई यही जानना चाहता है कि आखिर यह कोरोना महामारी कब खत्म होगी। वैज्ञानिकों ने इस सलाव का जवाब देने की कोशिश की है। खास फॉर्मूल से वैज्ञानिकों ने यह पता लगाया है कि भारत में कोरोना महामारी की दूसरी लहर अप्रैल के मध्य में अपने चरम पर होगी। 


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वहीं मई में मरीजों की संख्या तेजी से कम हो जाएगी। यानी लोगों से अपील है कि वे कुछ दिन और मास्क लगाने तथा शारीरिक दूरी का पालन कर लें, क्योंकि जल्द ही कोरोना कमजोर पड़ने वाला है। कानपुर आईआईटी के मनिंद्र अग्रवाल ने अन्य वैज्ञानिकों के साथ मिलकर सूत्र नामक एक फॉर्मूला तैयार किया है। इसी फॉर्मूल की मदद से देश में कोरोना की पहली लहर के बारे में सफलतापूर्वक बताया गया था।


कोवैक्सीन की तीसरी डोज के लिए क्लीनिकल ट्रायल को मंजूरी

इस बीच, अच्छी खबर यह है कि भारतीय दवा महानियंत्रक (डीसीजीआइ) की विषय विशेषज्ञ समिति (एसईसी) ने भारत बायोटेक को कुछ वालंटियर पर कोवैक्सीन की तीसरी डोज के लिए क्लीनिकल ट्रायल की अनुमति दे दी है। कोरोना वायरस के खिलाफ टीकाकरण अभियान में कोवैक्सीन का भी इस्तेमाल किया जा रहा है। एसईसी से भारत बायोटेक को कोवैक्सीन के दूसरे चरण के क्लीनिकल ट्रायल की अनुमति मिली हुई है। इसी में संशोधित आवेदन पेश करते हुए कंपनी ने बूस्टर डोज के लिए क्लीनिकल ट्रायल की अनुमति मांगी थी। यह डोज कोवैक्सीन की दूसरी डोज के छह महीने बाद दी जाएगी। भारत बायोटेक के आवेदन पर विस्तार से चर्चा करने के बाद समिति ने कहा है कि कंपनी को छह माइक्रोग्राम की मात्रा में बूस्टर डोज का अध्ययन करना चाहिए। साथ ही तीसरी डोज देने के कम से कम छह महीने बाद तक वालंटियर की सेहत पर निगरानी रखनी चाहिए

स्रोत-नईदुनिया 

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