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प्रवासी मजदूरों के लिए जारी योगी सरकार के नए दिशा-निर्देशों में कितना दम!

प्रवासी मजदूरों के लिए योगी सरकार ने जारी किया नये निर्देश

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यूपी में योगी सरकार ने प्रवासी मजदूरों की वापसी के चलते कुछ दिशा-निर्देश जारी किए हैं. इन मामलों के संबंध में स्वास्थ्य अपर मुख्य सचिव अमित मोहन प्रसाद के द्वारा पत्र लिख दिशा-निर्देश जारी किए गए. पत्र में निर्देश दिए गए है कि प्रवासी मजदूरों की वापसी पर जिला प्रशासन उनकी स्क्रीनिंग करवाए एवं किसी भी प्रकार के लक्षण पाए जाने पर उन्हें क्वारंटीन किया जाए। साथ ही संक्रमित पाए जाने पर उस व्यक्ति को कोविड अस्पताल या घर पर आइसोलेट किया जाए। पत्र में उन्होंने यहाँ भी कहा की संक्रमित को 14 दिन एवं जिनमें संक्रमित ना पाया जाए उन्हें 7 दिन क्वारंटीन किया जाए।



जारी किए गए ये दिशा-निर्देश

  • - जिले में पहुंचने पर जिला प्रशासन द्वारा यह सुनिश्चित किया जाएगा कि प्रत्येक प्रवासी की स्क्रीनिंग के साथ-साथ पता व मोबाइल नंबर के साथ लाइन लिस्टिंग तैयार की जाए।

  • - जिले के क्वारंटीन स्थल पर पहुंचने पर प्रत्येक प्रवासी व्यक्ति के नाम, पता व मोबाइल नंबर के साथ संपूर्ण विवरण का एक रजिस्टर तैयार किया जाए। इस रजिस्टर में क्वारंटीन सेंटर पहुंचने वाले और क्वारंटीन सेंटर से घर भेजे जाने वाले प्रत्येक व्यक्ति का पूरा विवरण मौजूद हो। रजिस्टर पर प्रवासियों के हस्ताक्षर भी मौजूद हों।
  • - अगर प्रवासियों के घर में क्वारंटीन होने की व्यवस्था नहीं है तो उन्हें प्रशासन की तरफ से बनाए गए क्वारंटीन सेंटर में रखा जाए।
  • - इस दौरान प्रवासियों को भी निर्देश दिया गया है कि क्वारंटीन के दौरान वह भी सावधानियां बरतेंगे और अपने घर के अलग कमरे में रहेंगे और मास्क या फिर गमछे का प्रयोग करेंगे।
  • - दिशा-निर्देशों में परिवार के 60 वर्ष से अधिक आयु के बुजुर्ग, गर्भवती महिलाओं व मधुमेह, उच्च रक्तचाप और हृदय रोगियों को क्वारंटीन किए गए व्यक्ति से अलग रहने के लिए कहा गया है। 
  • - यदि प्रवासी व्यक्ति व उसके परिवार के किसी सदस्य को बुखार व खांसी के लक्षण होते हैं तो इसकी सूचना चिकित्साधिकारी को दी जाएगी और उसे पैरासीटामाल देकर घर में ही क्वारंटीन रहने के लिए कहा गया है।


सरकार द्वारा बनाये गए इन दिशा-निर्देशों का पालन सख्ती से किया जाना चाहिये तो इन्हें बनाने का कोई अर्थ है किन्तु इनका पालन सख्ती से नहीं होता है तो इस तरह से बनाने गए दिशा-निर्देशों का कोई महत्व नहीं रहा जाता है.

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